2022: 17 अप्रैल: एक कविता संग्रह के तौर पर थी.हूं..रहूंगी...2012 में राजकमल ने प्रकाशित की। किताब खूब चर्चित हुई। आज 2022 में, ठीक 10 साल बाद, थी.हूं..रहूंगी...एक नए रूप में आपके सामने है। कवर में दिखतीं अपनी ओढ़नी से सिसकियों को सोख चुकी यह औरतें समय का सच हैं। तिनका तिनका बरसों से अपराध के अलग-अलग रंगों को करीब से देख रहा है। अब यह रंग एक नए आकार में आवाज में तब्दील होने जा रहे हैं।
थी. हूं..रहूंगी...में हर बार सुनिए जिंदगी के सच को कहती कोई नई कहानी- मेरे -यानी वर्तिका नन्दा के साथ।
आपकी जिंदगी की कोई कहानी हो और आप चाहें कि मैं उन्हें कहूं, तो बताइएगा।
Ещё видео!