ये कहानी है सचिन नाम के लड़के की, जो पीसवा, सीतापुर निवासी हैं। उन्हें टाटा कंपनी में नौकरी देने का झांसा देकर 15,000-22,000 रुपये जमा कराए गए और रामपुर, उत्तर प्रदेश में ट्रेनिंग के लिए बुलाया गया। 15 दिन तक सिर्फ ट्रेनिंग के नाम पर और लोगों को वहां बुलाना और पैसा जमा करने के लिए मजबूर किया गया। जहां न तो खाने की सुविधा होती न रहने की, बस पैसों की मांग की जाती थी। जब सचिन ने यहां से जाने और पैसे वापस मांगे तो धमकाया गया और रामपुर से शिफ्ट करके दूसरे राज्य भेजने को कहा गया। इस डर से रात 2 बजे के करीब, 17 जून 2023 को सचिने वहां से अपने कुछ साथियों के साथ भाग निकले।
संदीप यादव, अखिलेश यादव और उनके साथियों ने मिलकर सचिने को इस जाल में फंसाया।
इस वीडियो के माध्यम से हमारी संबंधित अधिकारियों और पुलिस विभाग से अनुरोध है कि इस तरह की कंपनियों पर उचित कार्यवाही की जाए और इस तरह गांव के भोले-भाले लोगों के साथ हो रही धोखाधड़ी को रोका जाए और उन्हें उनका हक़ दिलाया जाए।
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